पेरिस पैरालंपिक 2024 : पेरिस पैरालंपिक में भारतीय एथलीटों के अद्भुत प्रदर्शन से एक और स्वर्ण पदक हुआ भारत के नाम…
पेरिस। भारतीय एथलीटों ने पेरिस पैरालंपिक में अद्भुत प्रदर्शन जारी है। जिसमें दो स्वर्ण सहित आठ पदक जीते है। बैडमिंटन कोर्ट से लेकर ट्रैक एंड फील्ड तक भारतीय एथलीटों का दम दिखा। बैडमिंटन में नितेश कुमार ने ऐतिहासिक प्रदर्शन करते हुए एसएल-3 स्पर्धा में स्वर्ण पदक से भारत का खाता खोला, इसी के साथ सुहास यतिराज ने एसएल-4 और तुलसीमति मुरुगेसन ने महिलाओं की एसयू-5 स्पर्धा में रजत पदक जीते।
एसयू-5 स्पर्धा में मनीषा रामदास ने जबकि एसएच-6 स्पर्धा में नित्याश्री सिवन ने कांस्य पदक भारत की झोली में डाला। पुरुषों की एफ-64 भाला फेंक स्पर्धा में सुमित अंतिल ने खिताब बरकरार रखते हुए फिर स्वर्ण पदक जीता, तो चक्का फेंक एथलीट योगेश कथुनिया ने एफ-56 स्पर्धा में रजत पदक जीता। तीरंदाजी में भी भारत ने खाता खोला और शीतल देवी व राकेश कुमार की जोड़ी ने मिक्स्ड टीम कंपाउंड स्पर्धा में कांस्य पदक जीता। पेरिस पैरालंपिक में भारत के कुल 15 पदक हो गए हैं, जिनमें तीन स्वर्ण, पांच रजत और सात कांस्य हैं।
नितेश ने पहली बार जीता सोना, तो अंतिल ने बनाया पैरालंपिक रिकॉर्ड
मजबूत डिफेंस के साथ हरियाणा के 29 साल के शटलर नितेश ने और सही शाट चयन की मदद से टोक्यो के रजत पदक विजेता बेथेल को एक घंटे और 20 मिनट चले मुकाबले में 21-14, 18-21, 23-21 से हराकर पहली बार स्वर्ण पदक जीता। नितेश की जीत के साथ एसएल-3 वर्ग का स्वर्ण पदक भारत के पास बरकरार रहा। टोक्यो में तीन साल पहले जब पैरा बैडमिंटन ने पदार्पण किया था तो प्रमोद भगत ने इस स्पर्धा का स्वर्ण पदक जीता था।
सुमित अंतिल ने दूसरे प्रयास में 70.59 मीटर दूरी तक भाला फेंककर पैरालंपिक में नया रिकॉर्ड बनाया। इस स्पर्धा का विश्व रिकॉर्ड भी अंतिल के नाम है, जो उन्होंने हांगझू पैरा एशियाई खेलों मे 73.29 मीटर भाला फेंका था। एफ-44 भाला फेंक स्पर्धा में संदीप चौथे और संजय सरगर सातवें स्थान पर रहे। ये सभी एथलीट एक साथ ही स्पर्धा में फेंकते हैं। पेरिस पैरालंपिक गेम्स 2024 में ऐतिहासिक खेल खेलते हुए भारत ने पदकों की संख्या 3 स्वर्ण और कुल 14 (5 रजत और 6 कांस्य) कर दी। जिसके परिणामस्वरूप, भारत स्टैंडिंग में 14वें स्थान पर आ गया है।
अंतिल ने F64 श्रेणी के भाला फेंक में 70.59 मीटर के पैरालिंपिक रिकॉर्ड के साथ टोक्यो खेलों का खिताब बरकरार रखा। नतीजतन, उन्होंने तीन साल पहले बनाए गए 68.55 मीटर के अपने ही खेलों के रिकॉर्ड को तोड़ दिया। उनका विश्व रिकॉर्ड 73.29 मीटर है। दिन की शुरुआत में, नितेश की बारी थी चमकने की।
नित्या ने जीता कांस्य पदक
23 मिनट में 21-14, 21-6 से मिली जीत के बाद पैरा बैडमिंटन खिलाड़ी नित्या श्री सिवन ने भारत के लिए कांस्य पदक जीतकर एक अलग ही कहानी बयां की। उन्होंने हाल ही में शुरू की गई SH6 श्रेणी में इंडोनेशिया की मार्लिना रीना को मात दी, उन्हें मात दी और आमतौर पर उन पर भारी पड़ी। यह श्रेणी छोटे कद के एथलीटों के लिए है। 2019 में ही इस खेल में शामिल होने के बाद से ही वह तेजी से आगे बढ़ रही हैं और इस कांस्य पदक मैच ने यह दिखा दिया कि ऐसा क्यों है। निथ्या ने चतुराई से जगह का इस्तेमाल किया, एंगल्ड ड्रॉप्स के साथ रैलियों को खत्म करने से पहले क्लीयर को गहराई से और सटीक तरीके से आगे बढ़ाया, जिससे वह शुरू से अंत तक मैच पर नियंत्रण में रहीं।